*राणा का घोडा चेतक महाराणा को 26 फीट का दरिआ पार करने के बाद वीर गति को प्राप्त हुआ।उसकी एक टांग टूटने के बाद भी वो दरिआ पर कर गया। जहा वो घायल हुआ वहाआज खोड़ी इमली नाम का पेड़ है जहा मारा वह मंदिर । हेतक और चेतक नाम के दो घोड़े थे |
*मेवाड़ के आदिवासी भील समाज ने हल्दी घाटी में अकबर कि फोज को आपने तीरो से रोंद डाला था वो राणाप्रताप को अपना बेटा मानते थे और राणा जी बिना भेद भाव के उन के साथ रहते थे आज भी मेवाड़ के राज चिन्ह पैर एक तरह राजपूत है तो दूसरी तरह भील |
No comments:
Post a Comment